शब्द–शक्तियाँ
♦शब्द–शक्ति –
बुद्धि का वह व्यापार या क्रिया जिसके द्वारा किसी शब्द का निश्चयार्थक ज्ञान होता है, अर्थात् अमुक शब्द का निश्चित अर्थ यह है—इस तरह का स्थायी ज्ञान जिस शब्द–व्यापार से मानस मेँ संस्कार रूप मेँ समाविष्ट होता है, उसे शब्द–शक्ति कहते हैँ।
बुद्धि का वह व्यापार या क्रिया जिसके द्वारा किसी शब्द का निश्चयार्थक ज्ञान होता है, अर्थात् अमुक शब्द का निश्चित अर्थ यह है—इस तरह का स्थायी ज्ञान जिस शब्द–व्यापार से मानस मेँ संस्कार रूप मेँ समाविष्ट होता है, उसे शब्द–शक्ति कहते हैँ।
वाक्य मेँ सदा सार्थक शब्द का प्रयोग होता है। वाक्य मेँ प्रयुक्त
प्रत्येक शब्द का प्रयोग के अनुसार अर्थ बतलाने वाली वृत्ति को उसकी शक्ति अर्थात्
शब्द–शक्ति या शब्द–वृत्ति कहते हैँ।
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